अब मैं खुश हूँ
Posted by Arun Mishra in Happiness, Social Happiness, कहानी, हिंदी में पढ़ें Onएक गांव में एक बूढ़ा आदमी रहता था। उसके हिसाब से वो दुनिया के सबसे बदकिस्मत लोगों में से एक था । वो पूरे गांव से लगातार शिकायत करता था और हमेशा ही उदास रहता था। जैसे जैसे उसकी उमर ढल रही थी वो और अधिक निराशावादी होता जा रहा था और उसके शब्द बहुत ही कड़वे होते जा रहे थे। धीरे धीरे लोगों ने उसे अनदेखा करना शुरू कर दिया क्योंकि उसकी निराशावादी बातों से उन पर गलत असर पड़ रहा था। उसके पास रह कर खुश हो पाना बड़ा ही मुश्किल और असहज काम था। लोगों का मानना था कि वह सब मे दुख की भावना फैला रहा था।
लेकिन जब एक दिन, जब वो अस्सी साल का हो गया, एक अविश्वसनीय बात हुई। पूरे गाँव में शोर मच गया कि आज बूढ़ा खुश है , वह किसी के बारे में कुछ शिकायत नहीं करता, मुस्कुराता है, और यहां तक कि उसका चेहरा भी आज तरोताजा लग रहा है। पूरे गांव के लोग एक साथ एकत्र हुए।
सबने बूढ़े आदमी से पूछा- – आपको क्या हुआ? “कुछ खास नहीं है”, उसने शांति से उत्तर दिया। “अस्सी साल से मैं खुशी का पीछा करते हुए जी रहा था, और यह सब बेकार था। और फिर मैंने सोचा कि अब से खुशी के पीछे दौड़ना बंद| अब से मैं खुशहाली की तलाश में परेशान नहीं होऊंगा बल्कि जीवन जैसा है उसका आनंद लूँगा। यही कारण है कि अब मैं खुश हूँ।”
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Arun Mishra
Motivator, Trainer, Success Coach, Happiness Guru, Life Counselor, Career Counselor